पहन के चोला लाल मैया जी
जयकारा शेरावाली जी दा,
बोल सच्चे दरबार की जय,
पहन के चोला लाल मैया जी मेरे घर आना,
घर आना मेरे घर आना....
आज सारी रात तेरी ज्योत है जगानी,
मेरे घर आओगी माँ होगी मेहररानी,
पहन के चोला लाल मैया जी मेरे घर आना....
मेरी सच मानो मैं तो झूठ नही कहती,
झूठ नही कहती झूठ नही कहती,
हरदम माँ मैं तेरी भक्ति में रहती,
हो पहन के चोला लाल मैया जी मेरे घर आना....
मुझे है यकीन है माँ टालेगी ना बात को,
टालेगी ना बात को टालेगी ना बात को,
शेर पे सवार हो के आएगी माँ रात को,
हो पहन के चोला लाल मैया जी मेरे घर आना....
प्रेम से बोलो जय माता दी,
सारे बोलो जय माता दी,
ऊँची बोलो जय माता दी,
मैनुं नी सुणया जय माता दी,
माँ कस्ट निवारे जय माता दी,
माँ पार उतारे जय माता दी,
माँ बाण गंगा जय माता दी,
माँ पानी ठंडा जय माता दी,
मैं भी बोलू जय माता दी,
तुम भी बोलो जय माता दी,
हम सारे बोले जय माता दी,
बोलो जयकारे जय माता दी,
भई लगते प्यारे जय माता दी,
ओ जय जय कारे जय माता दी,
हो पहन के चोला लाल मैया जी मेरे घर आना....
श्रेणी : दुर्गा भजन
नवरात्रि भजन▹पहन के चोला लाल मैया जी मेरे घर आना |Devi Maiya Ka Bhajan |Mata Bhajan |Navratri Bhajan
पहन के चोला लाल मैया जी मेरे घर आना एक बेहद भावपूर्ण और भक्तिमय भजन है, जिसमें माँ दुर्गा से घर आने का आग्रह किया गया है। इस भजन में भक्त की सच्ची श्रद्धा और आस्था दिखाई देती है, जो माँ के आने से अपने घर को धन्य करना चाहता है। इसमें माँ को लाल चोला पहनकर आने का निमंत्रण दिया जाता है और विश्वास जताया जाता है कि माँ जरूर अपने भक्तों की पुकार सुनेंगी। भजन के हर शब्द में माँ की महिमा का बखान है और भक्तों को प्रेरित करता है कि वे प्रेम से "जय माता दी" का जयकारा लगाएं। यह भजन नवरात्रि के पावन पर्व पर भक्तों के बीच माँ की कृपा पाने का एक सुंदर माध्यम है। माँ दुर्गा की कृपा से हर दुख दूर होता है और भक्त के घर में सुख, शांति और समृद्धि का वास होता है।