भोलेनाथ मुझे तुम मत रोको मुझे बाबुल के घर
भोलेनाथ मुझे तुम मत रोको मुझे बाबुल के घर जाना है
मेरे पिता ने यह घर छाया है पर हमको नहीं बुलाया है
अपमान का बदला लेना है मुझे बाबुल के घर जाना है
गोरा बिना बुलाए जाओगी ना मान वहां पर पाओगी
वहां पड़े तुम्हें पछताना है मुझे बाबुल के घर जाना है
भोले के रोके नहीं रुकी पीहर में गोरा पहुंच गई
वहां देखा अजब नजारा है मुझे बाबुल के घर जाना है
वहां सारे देवता आए हैं आसन पर बैठे पाए हैं
भोले का ना कोई ठिकाना है मुझे बाबुल के घर जाना है
गुस्से में गोरा लाल हुई वह अग्नि कुंड में कूद गई
वापिस कैलाश ना जाना है मुझे बाबुल के घर जाना है
वह सारे देवता घबराए आपस में ऐसे बतलाएं
राजा दक्ष का बच नहीं पाना है मुझे बाबुल के घर जाना है
शिव शंकर को जब पता चल भोले बाबा का है क्रोध बड़ा
कांधे पे सति को डाला है मुझे बाबुल के घर जाना है
ले सती को वह घूमन लागे फिर हाहाकार मचा लागे
विष्णु ने चक्र चलाया है मुझे बाबुल के घर जाना है
कट कट के अंग जो गिरने लगे मैया के धाम है बनने लगे
हम सब को शिश झुकना है मुझे बाबुल के घर जाना है
श्रेणी : शिव भजन