जोत जगावां दिन रात जी नराते आये
जोत, जगावां, दिन रात,
जी नराते आए ll
भेटां मैं, गावां दिन रात,
जी नराते आए ll
जोत, जगावां, दिन रात,,,,
मैइया, तेरा भवन बनावां,
फुल्लां दे, नाल सजावां ll
फेरा, तुसीं पाइयो, प्रेम नाल,
जी नराते आए ll
जोत, जगावां, दिन रात,,,,
मैइया, तेरी जोत जगावां,
सोहणा जेहा, आसन लावां ll
आसन पर, बैठो, मेरी मां,
जी नराते आए ll
जोत, जगावां, दिन रात,,,,
मैइया, तेरा चोला बनावां,
सोहणा जेहा, गोटा लावां ll
चोला, तुसीं पहिनो, प्रेम नाल,
जी नराते आए ll
जोत, जगावां, दिन रात,,,,
मैइया, तेरा जगन रचावां,
सोहणे जेहे, भगत बुलावां ll
दर्शन, दे जाइयो, प्रेम नाल,
जी नराते आए ll
जोत, जगावां, दिन रात,,,,
मैइया, तेरा भोग बनावां,
सोहणी जेही, आरती गावां ll
भोग, लगाइयो, प्रेम नाल,
जी नराते आए ll
जोत, जगावां, दिन रात,,,,
अपलोडर – अनिलरामूर्ति भोपाल
श्रेणी : दुर्गा भजन
🪔🙏 नवरात्रि भजन🚩🚩 जोत जगावां दिन रात जी नराते आये🌹🌹 माता रानी की बहुत प्यारी भेंट🪔🙏
"जोत जगावां दिन रात जी नराते आए" एक सुंदर और भक्ति से भरा हुआ दुर्गा भजन है, जो माँ दुर्गा की पूजा और उनके प्रति श्रद्धा को व्यक्त करता है। इस भजन में भक्त ने माँ के प्रति अपनी पूर्ण निष्ठा और प्रेम को व्यक्त किया है। यह भजन विशेष रूप से नवरात्रि के दौरान भक्ति भाव से गाया जाता है और माँ दुर्गा के आशीर्वाद के लिए प्रार्थना की जाती है।
भजन की शुरुआत में भक्त कहते हैं, "जोत जगावां दिन रात जी नराते आए", जो माँ के नूर को जगाने की बात करता है। उनका जीवन हर समय माँ के प्रकाश से रोशन होता है। यह भजन उन भावनाओं को व्यक्त करता है, जो भक्त माँ दुर्गा के सामने अपनी श्रद्धा और समर्पण के रूप में प्रस्तुत करते हैं।
भजन के अगले हिस्से में भक्त माँ के भवन को फूलों से सजाने, प्रेम से उनका चोला पहनाने और उनके सामने भोग और आरती अर्पित करने की बात करते हैं। यह सब काम श्रद्धा और भक्ति से किया जाता है, क्योंकि भक्त का उद्देश्य केवल माँ के प्रति अपनी श्रद्धा और प्रेम को प्रदर्शित करना है।
इस भजन का हर शब्द माँ के प्रति गहरी श्रद्धा, समर्पण और प्रेम को व्यक्त करता है। भक्तों का यह विश्वास है कि जब वे प्रेम और श्रद्धा से भरे होते हैं, तो माँ दुर्गा उनकी प्रार्थनाओं को सुनती हैं और उन्हें आशीर्वाद देती हैं। "जोत जगावां दिन रात जी नराते आए" भजन न केवल भक्तों को उत्साहित करता है, बल्कि उनकी आत्मा को भी शांति और सुख प्रदान करता है।
यह भजन नवरात्रि के दौरान विशेष रूप से माँ दुर्गा की उपासना और उनकी शक्ति का बखान करने के लिए गाया जाता है, जिससे भक्तों का मन माँ के आशीर्वाद और प्रेम से अभिभूत हो जाता है।