तू मेरा ही सांवरा है
तू मेरा ही सांवरा है, कहता हूं ये महफिल में,
मैं भटक रहा था दर दर, तूने बिठाया दिल में ।
तेरे नाम के तो प्रेमी, लाखों भरे है बाबा,
कोई मनाता तुझको, कोई रिझाता बाबा,
एक फूल क्या चढ़ाऊं, नहीं हूं तेरे काबिल मैं,
तू मेरा ही सांवरा है कहता हूं ये महफिल में।
था भीड में अकेला, न कोई काम आया,
सबने किया किनारा, तूने गले लगाया,
तुम साथ यूं ही रहना, हरदम सभी मुश्किल में,
तू मेरा ही सांवरा है कहता हूं ये महफिल में।
आया शरण तुम्हारी, ले ठोकरें सभी की,
नेहा से नेह बाबा, न तोड़ना कभी भी,
रास्ता दिखाना हरदम, आगे सभी मंजिल में,
तू मेरा ही सांवरा है कहता हूं ये महफिल में।
तू मेरा ही सांवरा है, कहता हूं ये महफिल में,
मैं भटक रहा था दर दर, तूने बिठाया दिल में ।
श्रेणी : कृष्ण भजन
Tu Mera Saanwra | तू मेरा सांवरा | Sanjay Singh Chouhan | Shyam Bhajan 2025
"तू मेरा ही सांवरा है, कहता हूं ये महफिल में", यह भजन भक्त और श्याम प्रभु के बीच अटूट प्रेम और समर्पण का प्रतीक है। जब संसार में कोई साथ नहीं देता, तब श्याम बाबा ही हैं जो अपने भक्त को अपनाते हैं, उसे सहारा देते हैं और उसकी नैया पार लगाते हैं।
"मैं भटक रहा था दर दर, तूने बिठाया दिल में", यह पंक्ति एक भक्त की यात्रा को दर्शाती है, जो जीवन की कठिनाइयों में भटक रहा था, लेकिन श्याम बाबा की कृपा से उसे सच्चा प्रेम और शांति प्राप्त हो गई।
भजन आगे बताता है कि "तेरे नाम के तो प्रेमी, लाखों भरे हैं बाबा", लेकिन हर कोई अलग-अलग तरीके से श्याम प्रभु को रिझाने की कोशिश करता है। कोई भव्य फूल चढ़ाता है, तो कोई प्रेम से भरी आँखों से ही अपनी भक्ति अर्पित करता है। लेकिन सच्चा प्रेमी वही है, जो मन, वचन और कर्म से श्याम के प्रेम में डूबा रहता है।
"था भीड़ में अकेला, न कोई काम आया, सबने किया किनारा, तूने गले लगाया", यह अनुभूति हर उस भक्त की होती है, जो दुनिया की ठोकरें खाने के बाद श्याम प्रभु की शरण में आता है और फिर वहीं उसे सच्चा स्नेह और अपनापन मिलता है।
भजन की अंतिम पंक्तियाँ प्रभु के प्रति पूर्ण आत्मसमर्पण को दर्शाती हैं—"आया शरण तुम्हारी, ले ठोकरें सभी की, नेहा से नेह बाबा, न तोड़ना कभी भी", अर्थात भक्त श्याम प्रभु से यही प्रार्थना करता है कि चाहे कोई भी परिस्थिति आए, वह उनकी कृपा और भक्ति से कभी वंचित न हो।
यह भजन श्याम प्रेमियों के हृदय को छू लेने वाला है, जो हमें याद दिलाता है कि जब संसार साथ छोड़ दे, तो भी सांवरे की भक्ति हमें संभाले रखती है। जय श्री श्याम!